1. जो परमात्मा से जुड़े होते है, उन्हें ना तो ज़मीन जायदाद का और ना रिश्तों के छूटने का डर होता है I उन्हें तो वस एक परमात्मा सेे जुड़े रहने का नशा होता है .
गुरुबॉक्स चैनल महान संतों और उनकी शिक्षाओं को समर्पित है। गुरुबॉक्स का लक्ष्य लोगों को अधिक भजन और सिमरन/ध्यान के लिए प्रेरित करना है।
Saturday, 25 May 2019
Saturday, 18 May 2019
057 - संत कर्म-बंधन कैसे काटते हैं ?
एक बार दशम पातशाही श्री गुरु गोबिन्द सिंह जी का दरबार सजा हुआ था। कर्म-फल के प्रसंग पर पावन वचन हो रहे थे कि जिसकी जो प्रारब्ध है उसे वही प्राप्त होता है कम या अधिक किसी को प्राप्त नहीं होता क्योंकि अपने किये हुये कर्मों का फल जीव को भुगतना ही पड़ता है।
Wednesday, 8 May 2019
056 - सबके कर्म और भाग्य अलग अलग क्यों ?
एक बार एक राजा ने विद्वान ज्योतिषियों और ज्योतिष प्रेमियों की सभा बुलाकर प्रश्न किया कि - मेरी जन्म पत्रिका के अनुसार मेरा राजा बनने का योग था मैं राजा बना , किन्तु उसी घड़ी मुहूर्त में अनेक जातकों ने जन्म लिया होगा जो राजा नहीं बन सके क्यों ? इसका क्या कारण है ?
Friday, 26 April 2019
055 - आत्मा की खुराक क्या है ?
किसी व्यक्ति को बहुत जोरो की प्यास लगी हो वह प्यास के मारे तड़प रहा हो उसे पानी न मिल रहा हो अन्य तमाम प्रकार के पेय पदार्थ उसे पिलाये जाये तो उसकी प्यास पूर्ण रूप से समाप्त नही होगी । थोड़ी देर बाद वह फिर प्यास से तड़पने लगता है । जब कोई व्यक्ति कही से पानी लाकर उसे पिला देता है तो उसकी प्यास
Sunday, 14 April 2019
054 - दुनिया में किसी के बिना किसी का काम नहीं रुकता ?
एक घर के मुखिया को यह अभिमान हो गया कि उसके बिना उसके परिवार का काम नहीं चल सकता उसकी छोटी सी दुकान थी । उससे जो आय होती थी, उसी से उसके परिवार का गुजारा चलता था चूंकि कमाने वाला
Thursday, 4 April 2019
रूहानी मार्ग की बातें - जो करेगा, वो भरेगा
1. जो करेगा, वो भरेगा - "कोई लाख अपने गुनाह छिपाये। उस रब से कुछ नहीं छिपा सकते। जब उसकी मार पड़ती है तब अच्छे-अच्छों की अक्ल ठिकाने लग जाती है। तब उसे अपने गुनाह याद आने लग जाते हैं कि, मैंने किस के साथ क्या किया। इसलिए हमेशा एक बात याद रखिए -"जो करेगा, वो भरेगा। " हम सब उस
Monday, 1 April 2019
053 - पाप कहाँ कहाँ तक जाता है ?
एक बार एक ऋषि ने सोचा कि लोग गंगा में पाप धोने जाते है, तो इसका मतलब हुआ कि सारे पाप गंगा में समा गए और गंगा भी पापी हो गयी .
Thursday, 14 March 2019
052 - परमात्मा की प्राप्ति कैसे होती है ?
एक राजा था। वह बहुत न्याय प्रिय तथा प्रजा वत्सल एवं धार्मिक स्वभाव का था। वह नित्य अपने इष्ट देव को बडी श्रद्धा से पूजा-पाठ ओर याद करता था। एक दिन इष्ट देव ने प्रसन्न होकर उसे दर्शन दिये तथा कहा---"राजन् मैं तुमसे बहुत प्रसन्न हूं | बोलो तुम्हारी कोई इचछा है ?"
Monday, 4 March 2019
051 - हमारे वर्तमान जीवन के अस्तित्व का आधार क्या है ?
हमारे जीवन का आधार हमारी मन ,इंद्रियां या शरीर नही बल्कि आत्मा है । जो कि अमर अविनाशी अजन्मा है । हमारी आत्मा बिल्कुल परमात्मा की तरह ही ज्ञान ,शक्ति एवम आनंद रूप मानी जाती है । जिसे न आग जला सकती है, न पानी या अन्य चीजों से नष्ट हो सकती है । यह तो हुआ आत्मा का संक्षिप्त परिचय
Thursday, 21 February 2019
050 - एक सचे सत्संगी के सामने राजा को क्यों झुँकना पड़ा ?
गुरु अर्जुन साहेब जी महाराज का एक सिख था. जिसका नाम था भाई माधो दास. भाई माधो दास लाहौर में रहते थे और बड़े सत्संगी थे. सतसंगत से इन्हें इतना प्रेम था कि ये सतसंग की कहीं भी सूचना मिले तो ये सब
Thursday, 14 February 2019
रूहानी मार्ग की बातें - 'शब्द की कमाई' से ही मिलना है।
1. देह तो दुःख सुख का घर है, इसमे तो दोनों ही जरुर आयेंगे, सो इसे अच्छा मान के भुगत ले। जो कई वर्षो का दुःख होता है, वह सत्संगी को थोड़े दिनों में ही भुगताया जाता है, सो किसी बात की चिंता न करना.
Saturday, 9 February 2019
Thursday, 31 January 2019
048 - सचखंड जाने के कितने विक्लप है ?
1. चींटी चाल -- कबीर साहेब कहते है के इस अभ्यास में सबसे पहले जीव की हालत चींटी जैसी होती है जिस तरह चींटी दीवार पर चढ़ती है गिर जाती है फिर चढ़ती है फिर गिर जाती है।।शुरू शुरू में इस अभ्यास में प्रेम औऱ विश्वास से काम लेना पड़ता है।
Thursday, 24 January 2019
047 - गुरू कौन है ?
मैने एक आदमी से पूछा कि गुरू कौन है ! वो सेब खा रहा था,उसने एक सेब मेरे हाथ मैं देकर मुझसे पूछा इसमें कितने बीज हें बता सकते हो ?
Thursday, 17 January 2019
046 - सतगुरु ने नामदेव जी की लाज कसे रखी ?
नामदेव जी एक पूर्ण संत हुए हैं। उनके गुरु ने उन्हें नाम की दौलत दी जो संसार में सबसे अमूल्य वस्तु है। नामदेव के घरवाले सभी सांसारिक लोग थे इसलिए आप इस आंतरिक भेद को उन से छिपाकर रखते थे।
Thursday, 10 January 2019
रूहानी मार्ग की बातें - गुरु के शबद रूपी झाड़ू
Friday, 28 December 2018
045 - राबा बसरी ने 7 मुल्कों की बादशाही क्यों ठुकराई ?
बीबी राबा बसरी इरान की एक मशहूर संत हुई है. एक दफा वह अपनी कुटिया में 6 दिन भजन में बैठी थी
Wednesday, 19 December 2018
044 - मालिक ने कबीर जी की लाज कसे रखी ?
भगत कबीर जी की बेटी की शादी का समय नजदीक आ रहा था। सभी नगर वासीयों में कानाफूसी चल रही थी कि देखो कबीर की बेटी की शादी है,और इनको कोई फिक्र ही नहीं। पता नहीं यह बरातियों की आवभगत
Thursday, 13 December 2018
043 - संत भजन सिमरन पर इतना जोर क्यों देते हैं ?
एक बार बाबा सावन सिंह जी महाराज से एक सत्संगी ने पूछा कि हुज़ूर! आप अपने सत्संग में भजन सिमरन पर ही इतना जोर क्यों देते हैं? जबकि आप अच्छी तरह से जानते हैं कि हमसे भजन सिमरन
Tuesday, 4 December 2018
042 - एक सत्संगी की रूह कहाँ तक जा सकती है ?
बड़े महाराज जी उत्तर देते हुए कहते है - बेशक ! ये रूहे अचेत पड़ी हुई थी, मालिक ने इन्हें इस सृष्टि में भेज
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सत्संग तो वो दर्पण है जो मनुष्य के चरित्र को दिखाता है मनुष्य के जीवन मे अशांति ,परेशानियां तब शुरु हो जाती है जब मनुष्य के जीवन मे ...
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किसी व्यक्ति को बहुत जोरो की प्यास लगी हो वह प्यास के मारे तड़प रहा हो उसे पानी न मिल रहा हो अन्य तमाम प्रकार के पेय पदार्थ उसे पिलाये जा...
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किसी गाँव में एक ताले की दुकान थी, ताले वाला रोजाना अनेकों ताले तोडा करता और अनेकों चाबियाँ भी बनाया करता था।ताले वाले की दुकान में एक बच्चा...
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1. जो व्यक्ति लगातार अंदर सिमरन - अभ्यास करते रहने की आदत डाल लेता है , उसे बड़ा सुकून मिलता है और उसे लगातार सिमरन कर...
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एक फकीर अरब मे हज के लिए पैदल निकला। रात हो जाने पर एक गांव मे शाकिर नामक व्यक्ति के दरवाजे पर रूका। शाकिर ने फकीर की खूब सेवा किया।...